11/16/2018

#वाराणसी: राम मंदिर निर्माण राजनीतिक मुद्दा नहीं है, हमें राजनीति से कोई लेना देना नहीं: मोहन भागवत


सरफ़राज़ अहमद
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वाराणसी: 11 नवंबर की रात से वाराणसी में अपने छह दिवसीय काशी प्रवास के पांचवें दिन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने बौद्धिक सत्र में हिस्सा लिया. इस शिविर के 5वें दिन बौद्धिक सत्र का आयोजन किया गया. इसमें संघ के 250 प्रचारकों के साथ कुछ चुनिंदा पदाधिकारियों और कुछ संघ कार्यकर्ताओं ने भागीदारी की.

बड़ागांव के कोईराजपुर में आयोजित इस शिविर में संघ प्रमुख में संघ कार्यकर्ताओं और प्रचारकों को हिंदू धर्म की रक्षा के लिए एकजुट होकर कार्य करना और महिला आरक्षण के मुद्दे पर जागरूकता फैलाने की बातें कहीं. सत्र शुरू होने से पहले गोपाष्टमी की वजह से संघ प्रमुख ने पहले माता गौ की सेवा और पूजा की उसके बाद सत्र का प्रारंभ हुआ.

सूत्रों की मानें तो 25 नवंबर को अयोध्या में विश्व हिंदू परिषद की तरफ से तमाम हिंदू संगठनों और संत समाज के लोगों की बड़ी जुटान को लेकर संघ प्रमुख ने इस आयोजन में सभी के एकजुट होकर सहयोग करने की भी बात कही. संघ प्रमुख का कहना था कि राम मंदिर निर्माण राजनीतिक मुद्दा नहीं है, हमें राजनीति से कोई लेना देना नहीं लेकिन आज समय आ गया है कि राम की रीति नीति का प्रचार और प्रसार होना चाहिए. प्रत्येक राज्य मर्यादा पुरुषोत्तम राम की नैतिकता पर चलेगा तो देश ही नहीं वरन संपूर्ण वैश्विक श्री राम की तरह न्याय व्यवस्था, कर्मठता, लगन शीलता और संस्कार के प्रति स्नेह के भाव के साथ कार्य कर सकेगा.

संघ प्रमुख ने कहा कि इसके मूल में राष्ट्र का हित छिपा है. संघ प्रमुख ने महिलाओं के समानता के अधिकार पर भी बल देते हुए यह स्पष्ट किया कि महिला आरक्षण के मुद्दे पर यदि जरूरत पड़ी तो प्रचार प्रसार कर इस पर भी बात की जाएगी. वहीं उन्होंने शिक्षा में समानता के अधिकार पर भी बल दिया और भेदभाव खत्म कर अमीर गरीब के बच्चों को एक ही शिक्षा के स्तर में लाने की बातें भी कहीं और संघ के प्रचारकों को संघ की कार्यशैली बनाए रखते हुए इसे जन जन तक पहुंचाने पर भी बल दिया.

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